जनजीवन ब्यूरो
नई दिल्ली । बुलेट ट्रेन लाने की तैयारी कर रही नरेंद्र मोदी सरकार के तीन साल के शासनकाल में आठ बड़ी रेल दुर्घटनाएं हो चुकी हैं. इन आठ रेल हादसों में 340 लोगों की जान जा चुकी है और करीब डेढ़ हजार लोग घायल हो हुए है. सबसे ज्यादा छह रेल हादसे उत्तरप्रदेश में हुए हैं. आंध्रप्रदेश, महाराष्ट्र और मध्यप्रदेश में भी एक-एक रेल दुर्घटना हुई है. पिछले साल जुलाई से नवंबर तक तीन बड़े हादसे रायबरेली, भदेही और कानपुर में हुए. अब आंध्रप्रदेश में ही बड़ी रेल दुर्घटना आज हो गयी. आठ बड़े हादसों के बाद रेल सुरक्षा पर सवाल खड़े होने लगे हैं.
शनिवार की देर रात एक और बड़ा रेल हादसा हुआ और 38 लोगों की जान चली गयी. 50 से ज्यादा लोग घायल हो गये हैं. यह हादसा आंध्र प्रदेश के विजयनगरम जिले के कुनेरू स्टेशन के निकट हुआ, जहां जगदलपुर- भुवनेश्वर हीराखंड एक्सप्रेस (18448) दुर्घटनाग्रस्त हो गयी.
विजयनगरम-कुनेरू रेल हासदा : 21 जनवरी 2017 की देर रात आंध्र प्रदेश के विजयनगरम जिले के कुनेरू स्टेशन के निकट जगदलपुर- भुवनेश्वर हीराखंड एक्सप्रेस (18448) के कई बोगियां पटरी सु उतर गयी. इस हादसे में 38 लोगों की मौत हो गयी, जबकि 50 से ज्यादा लोग घायल हो गये. आशंका है कि पटरी से छेड़छाड़ की गयी.
कानपुर रेल हासदा : 20 नवंबर 2016 को उत्तरप्रदेश के कानपुर के पास पुखरायां में बड़ी रेल दुर्घटना हुई. इसमें हसदो में 150 से ज्यादा लोगों की जान गयी और करीब 200 से ज्यादा लोग घायल हो गये. जांच में पता चला कि इस हादसे में आइएसआइ का हाथ था.
भदोही रेल हादसा : 25 जुलाई 2016 को उत्तरप्रदेश के भदोही इलाके में मडुआडीह-इलाहाबाद पैसेंजर ट्रेन एक मिनी स्कूल वैन से टकरा गयी. वैन में 19 बच्चे सवार थे, जिनमें से 7 बच्चों की मौत हो गयी.
रायबरेली रेल हादसा : 20 मार्च 2015 को उत्तराखंड के देहरादून से वाराणसी जा रही जनता एक्सप्रेस पटरी से उतर गयी. यह हादसा रायबरेली के बछरावां रेलवे स्टेशन के पास हुआ. इनमें 34 लोग मारे गये.
कौशांबी-सिराथू रेलवे हादसा : 25 मई 2015 को कौशांबी के सिराथू रेलवे स्टेशन के पास मूरी एक्सप्रेस हादसे का शिकार हुई. ट्रेन पटरी से उतर गयी. इस हादसे में 25 यात्री मारे गये और बरी 300 घायल हो गये.
हरदा रेल हादसा : 5 अगस्त 2015 में मध्यप्रदेश के हरदा के करीब एक ही जगह पर 10 मिनट के अंदर दो ट्रेन हादसे हुए. इटारसी-मुंबई रेलवे ट्रैक पर दो ट्रेनें मुंबई-वाराणसी कामायनी एक्सप्रेस और पटना-मुंबई जनता एक्सप्रेस पटरी से उतर गयीं. माचक नदी पर रेल पटरी धंसने की वजह से हरदा में यह हादसा हुआ था. इस दुर्घटना में 31 यात्री मारे गये.
कोंकण रेल हादसा : मई 2014 में महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में कोंकण रेलवे रूट पर एक यात्री सवारी गाड़ी का इंजन और उसके छह डिब्बे पटरी से उतर गये. इस हादसे में 20 यात्रियों की मौत हो गयी, जबकि 124 लोग घायल हुए.
चुरेन रेल हादसा : 26 मई, 2014 को उत्तर प्रदेश के संत कबीर नगर जिले में चुरेन रेलवे स्टेशन के पास गोरखधाम एक्सप्रेस और मालगाड़ी में टक्कर हुई. यात्री ट्रेन को उसी ट्रैक पर ले जाया गया था, जहां पहले से मालगाड़ी खड़ी थी. इस हादसे में 22 से ज्यादा यात्रियों की जान चली गयी.