जनजीवन ब्यूरो
इस्लामाबाद: इस्लामाबाद हाईकोर्ट में फोटो खींच रहे एक वरिष्ठ भारतीय राजनयिक को माफी मांगनी पड़ी. बताया जाता है कि ताहिर अली नामक जिस व्यक्ति ने मुकदमा दायर किया है, उस पर एक भारतीय महिला को बंदूक दिखाकर विवाह करने के लिए बाध्य करने का आरोप है. इस्लामाबाद में भारतीय महिला उज्मा के साथ जबरन शादी और मारपीट के मामले में सुनवाई के लिए राजनयिक पाकिस्तान गए हैं. मामले की तहतक जाने के प्रयास में भारतीय उच्चायोग जुटा है.
अधिकारी की पहचान पीयूष सिंह के तौर पर हुई है और वह इस्लामाबाद स्थित भारतीय उच्चायोग में प्रथम सचिव है. आरोप है कि उन्होंने तीन तस्वीरें लीं, जिनमें से एक तस्वीर न्यायमूर्ति मोहसिन अख्तर कयानी की है. ताहिर ने अपनी भारतीय पत्नी उजमा से मिलने के लिए हाईकोर्ट से हस्तक्षेप करने की मांग की है.
इस घटना को अदालत की नियमावली का गंभीर उल्लंघन बताते हुए न्यायाधीश ने भारतीय राजनयिक को लिखित माफीनामा अदालत में जमा करने का आदेश दिया. इससे पहले सिंह ने कथित घटना को लेकर मौखिक माफी मांगी थी… फिर उन्होंने लिखित में माफी मांगी. अदालत ने उनकी माफी स्वीकार कर ली और भविष्य में उन्हें ऐसा नहीं करने के लिए कहा.
सिंह की तरफ से एक बयान में कहा गया कि ‘मैं अदालत में भूल से मोबाइल का उपयोग करने की कोशिश के लिए पूरी तरह माफी मांगता हूं. यह अनुरोध किया जाता है कि मुझे इसके लिए माफ किया जाए’. दिल्ली निवासी उजमा ने आठ मई को इस्लामाबाद की अदालत में अली के खिलाफ एक मामला दायर किया है, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया है कि अली की ओर से उसका उत्पीड़न और उन्हें प्रताड़ित किया गया है.