जनजीवन ब्यूरो / पटना : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के आवास पर आयोजित जदयू विधायकों, सांसदों और जिला पदाधिकारियों की बैठक समाप्त हो गयी है. माना जा रहा है कि नीतीश कुमार सीएम की कुर्सी जाने के डर से उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के इस्तीफे पर निर्णय नहीं ले पा रहे हैं. क्योंकि बैठक के बाद जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने संवाददाताओं से कहा कि पार्टी गठबंधन धर्म का पालन करना जानती है.
जदयू के वरिष्ठ नेता रमई राम ने मीडिया से बातचीत में कहा कि उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के इस्तीफे के मुद्दे पर पार्टी चार दिन बाद कोई फैसला लेगी. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार को इस मामले में आखिरी निर्णय लेने के लिए अधिकृत किया गया है.
वहीं, सूत्रों की मानें, तो जदयू की बैठक में नीतीश कुमार ने पार्टी नेताओं से कहा है कि वह सिद्धांतों से समझौता नहीं करेंगे. सूत्रों ने अनुसार, नीतीश कुमार इस बैठक के माध्यम से बिहार में जारी सियासी हलचल को लेकर ग्राउंड लेवल पर वर्करों की राय से अवगत होना चाहते थे. बताया जा रहा है कि कांग्रेस और अन्य दलों की तरह की भ्रष्टाचार के मुद्दे पर जदयू लालू यादव का समर्थन नहीं करने का मन बना चुकी है. बैठक में तेजस्वी के इस्तीफे को लेकर जारी सियासी चर्चा को लेकर भी पार्टी नेताओं के बीच रणनीति पर विचार-विमर्श किया गया.
हालांकि जदयू एमएलसी राजकिशोर कुशवाहा ने कहा कि तेजस्वी के इस्तीफे के मुद्दे पर बैठक में किसी तरह की कोई चर्चा नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि महागठबंधन मजबूत है और बिहार में अपना काम करता रहेगा. जबकि, बैठक से पहले नीतीश कुमार के करीबी संजय झा ने कहा कि नीतीश ने अपने राजनीतिक जीवन में हमेशा जीरो टॉलरेन्स ऑन करप्शन की नीति अपनायी है. नीतीश ने कभी इस नीति से समझौता नहीं किया है. उन्होंने कहा कि आगे भी इस नीति से कोई भी समझौता नहीं होगा, चाहे कोई भी व्यक्ति हो.
वहीं, नीतीश सरकार में मंत्री जय कुमार सिंह ने कहा था कि बैठक में तेजस्वी यादव का मुद्दा भी उठाया जायेगा. उल्लेखनीय है कि इससे पहले सोमवार को राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने पार्टी विधायकों की बैठक बुलायी थी. इस बैठक में फैसला हुआ कि तेजस्वी यादव इस्तीफा नहीं देंगे. बैठक में राष्ट्रपति चुनावों को लेकर और देश में मौजूदा हालात पर भी चर्चा की गयी.
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष व सांसद नित्यानंद राय ने सोमवार को कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद से अपना नाता तोड़ें। टीवी चैनलों से बातचीत में राय ने कहा कि अगर नीतीश कुमार लालू प्रसाद से अलग होते हैं तो उन्हें भाजपा बाहर से समर्थन दे सकती है। हालांकि इस पर अंतिम निर्णय केंद्रीय नेतृत्व करेगा।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष व सांसद नित्यानंद राय ने सोमवार को कहा कि लालू प्रसाद बिहार की जनता को बताएं कि इतनी संपत्ति उन्होंने कहां से अर्जित की है। उन्होंने कहा कि अवैध और गैरकानूनी संपत्ति अर्जित करने वालों पर कार्रवाई होनी ही चाहिए, चाहे उनकी हैसियत या उनका ओहदा कोई भी हो।
उन्होंने कहा कि कानून अपना काम कर रहा है और लालू परिवार पर कार्रवाई स्वागत योग्य है। राय ने कहा कि देश के शासन-प्रशासन में पारदर्शिता और ईमानदारी स्थापित करने की कोशिश को राजनीतिक रंग देना निंदनीय है। उन्होंने कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राज्य की आवाम को बताएं कि वह कब तेजस्वी प्रसाद और तेज प्रताप को कैबिनेट से बर्खास्त करेंगे?
सीएम के पास अब तेजस्वी की बर्खास्तगी ही विकल्प: सुशील मोदी
पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने कहा है कि राजद की बैठक में तेजस्वी यादव के इस्तीफे से इनकार के बाद अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के पास तेजस्वी यादव की मंत्रिमंडल से बर्खास्तगी ही एकमात्र विकल्प बचा है।
नैतिकता के आधार पर गैसल रेल दुर्घटना और लोकसभा चुनाव में करारी हार के बाद इस्तीफा देने वाले नीतीश कुमार क्या तेजस्वी को बर्खास्त करने की हिम्मत दिखायेंगे? मोदी ने कहा कि केन्द्रीय जांच एजेंसियों की कार्रवाई को महागठबंधन तोड़ने की साजिश बताने वाले शरद यादव भूल रहे हैं कि 2008 में ललन सिंह के साथ तत्कालीन पीएम मनमोहन सिंह को ज्ञापन देकर उन्होंने रेलवे के दो होटलों के बदले डिलाइट कम्पनी को पटना में 3 एकड़ जमीन दिलवाने का आरोप लगा लालू प्रसाद के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी। कहा कि भ्रष्टाचार के मामले में सजायाफ्ता लालू प्रसाद और उनकी पार्टी से तेजस्वी के इस्तीफे की अपेक्षा कैसे की जा सकती है।