जनजीवन ब्यूरो / लखनऊ । केंद्र व उत्तर प्रदेश की बीजेपी सरकार राम मंदिर तो बना नहीं सकी है लेकिन दलितों को रिझाने के लिए अब बाबा साहब डा. भीमराव आंबेडकर का नाम डॉ. भीमराव रामजी आंबेडकर कर दिया है। सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से बुधवार को इस संबंध में शासनादेश जारी कर दिया गया। सरकार के इस फैसले का विरोध हो रहा है
सामान्य प्रशासन विभाग के प्रमुख सचिव जितेंद्र कुमार ने बताया कि राज्यपाल राम नाईक ने सरकार को संविधान की आठवीं अनुसूची की मूल प्रति के संलग्नक की छाया प्रति भेजी थी जिसमें बाबा साहब ने अपने हस्ताक्षर करते हुए डॉ. भीमराव रामजी आंबेडकर लिखा है।
राज्यपाल ने सरकार का ध्यान आकृष्ट कराते हुए कहा था कि बाबा साहब का नाम गलत लिखा जा रहा है। इसे सही किया जाए। इसके बाद शासनादेश जारी करके सरकारी अभिलेखों में उनका नाम डॉ. भीम रामजी आंबेडकर लिखने के निर्देश दिए गए हैं।