प्रदीप शर्मा / नई दिल्ली : राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के मानहानि मामले में ठाणे की अदालत में पेश हुए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कोर्ट में कहा है कि मैं दोषी नहीं हूं, लेकिन केस का सामना करने के लिए तैयार हूं. बता दें कि राहुल गांधी ने एक रैली में महात्मा गांधी की हत्या के लिए आरएसएस को जिम्मेदार ठहराया था.
कोर्ट ने राहुल गांधी पर आईपीसी की धारा 499 और 500 के तहत आरोप तय किए हैं. बता दें कि आरएसएस के एक कार्यकर्ता राजेश कुंटे की तरफ से राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का मुकादमा दायर किया गया था. राहुल गांधी इससे पहले भी इस मामले में पेश हो चुके हैं.
राहुल गांधी ने साल 2004 के लोकसभा चुनाव के अभियान के दौरान 6 मार्च 2014 को अपने भाषण में महात्मा गांधी की हत्या को लेकर कथित तौर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के खिलाफ टिप्पणी की थी. राहुल ने अपने भाषण में कहा था कि संघ के लोगों ने गांधी जी को गोली मारी थी.
इस बयान के बाद आरएसएस की एक शाखा के सेक्रेटरी राजेश कुंटे ने राहुल के खिलाफ भिवंडी के लोकल कोर्ट में क्रिमिनल केस दर्ज करवाया था. उनका आरोप था कि इससे आरएसएस की छवि को नुकसान पहुंचा है. साल 2016 के नवंबर महीने में सुनवाई के दौरान भिवंडी की कोर्ट ने पूर्व केंद्रीय मंत्री शिवराज पाटिल के जमानतकर्ता बनने के बाद राहुल गांधी को जमानत दी थी.
सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी से कहा था कि अगर वो अपने बयान पर खेद जताएं तो मुकदमा खत्म किया जा सकता है. हालांकि, राहुल ने इससे मना करते हुए अपनी दलीलें रखने की बात कही थी.