जनजीवन ब्यूरो / जालंधर । केरल नन रेप केस के मुख्य गवाह की संदिग्ध हालत में मौत हो गई है। फादर कुरियाकोस काट्टुथारा पंजाब के होशियारपुर में मृत पाए गए। वो आरोपी बिशप फ्रैंको मुलक्कल के मामले में मुख्य गवाह थे।
मृतक फादर कुरियाकोस काट्टुथारा ने नन यौन उत्पीड़न के आरोपी बिशप फ्रैंको मुलक्कल के खिलाफ पुलिस में शिकायत की थी। वह आज होशियारपुर के दसूहा स्थित सेंट मैरी चर्च के एक कमरे में मृत पाए गए हैं। वहीं मृतक कुरियाकोस के भाई जोस कुरियाकोस ने इसे हत्या बताया है। जोस का आरोप है कि नन यौन उत्पीड़न केस में शिकायत करने के बाद उनके भाई को लगातार धमकियां दी जा रही थी।
फिलहाल पुलिस ने शव को कब्जे में ले लिया है। हालांकि पोस्टमार्टम के बाद ही स्थित स्पष्ट होगी। बता दें कि मृतक फादर कुरियाकोस की उम्र 60 वर्ष थी। हाल ही में केरल हाईकोर्ट ने आरोपी फ्रैंको मुलक्कल को सशर्त जमानत दी थी। इसके बाद वह जालंधर पहुंचा था। जहां उसका जोरदार स्वागत भी किया गया था।
दसूहा के डीएसपी एआर शर्मा ने कहा कि फादर कुरीकोस कट्टुथारा सेंट पॉल चर्च में बिस्तर में मृत मिले हैं। उनके पास से ब्लड प्रेशर की गोलियां भी मिली हैं। मामले की जांच जारी है। उनके शरीर में चोट के कोई निशान नहीं मिले हैं। डीएसपी ने यह भी बताया कि फादर कुरियाकोस को कोई सुरक्षा प्रदान नहीं की गई थी।
उधर, फादर के परिवार का कहना है कि उनकी मौत के पीछे रेप के आरोपी मुलक्कल वजह हो सकते हैं। बता दें कि फादर कुरियाकोस ने पिछले दिनों केरल पुलिस के सामने जीजस मिशनरी की नन से रेप के आरोप में बिशप फ्रैंको मुलक्कल के खिलाफ बयान दिया था। कुरियाकोस के परिवार कहना है कि उन्हें उनकी मौत पर संदेह है। साथ ही उन्होंने यह भी आरोप लगाया है कि फादर कुरियाकोस को फ्रैंको मुलक्कल के खिलाफ बयान देने के लिए मारा गया है।
बताया जा रहा है कि फादर कुरियाकोस ने इससे पहले आरोप लगाया था कि उन्हें पीड़ित नन के समर्थन में बयान देने के चलते काफी दबाव में थे। फादर कुरियाकोस जालंधर डायसिस में वोकेशनल टीचर थे। उन्होंने पीड़िता के साथ-साथ प्रदर्शन कर रहीं सिस्टर को भी पढ़ाया था।
बिशप को हाल ही में मिली थी जमानत
हाल ही में केरल हाई कोर्ट ने नन के साथ रेप के आरोपी बिशप फ्रैंको मुलक्कल को सशर्त जमानत दे दी थी। कोर्ट ने जमानत के लिए जिन शर्तों को निर्धारित किया है, उसके तहत आरोपी बिशप केरल में प्रवेश नहीं कर सकते और साथ ही उन्हें अपना पासपोर्ट भी कोर्ट में जमा करना होगा।
इससे पहले 21 सितंबर को गिरफ्तार किए गए बिशप की जमानत 3 अक्टूबर को खारिज कर दी गई थी। इसके बाद उन्होंने हाई कोर्ट के समक्ष नई याचिका दायर की। इसमें उन्होंने दलील दी थी कि पुरानी याचिका के वक्त अभियोजन ने जो आपत्तियां की थी, वह अब नहीं हैं। जमानत के बाद जब वह जालंधर पहुंचे थे तो उनके समर्थकों ने उनका जोरदार स्वागत किया था।