जनजीवन ब्यूरो / श्रीनगर । जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को हटाने का विरोध कर रही नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला की बहन सुरैया और बेटी साफिया को मंगलवार को हिरात में ले लिया गया है। उनके साथ-साथ तकरीबन आधा दर्जन महिला प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया।
बता दें कि फारूक अब्दुल्ला, पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला, पीपल्स डेमोक्रैटिक पार्टी की (पीडीपी) नेता महबूबा मुफ्ती अभी भी नजरबंद हैं। कुछ दिनों पहले फारूक अब्दुल्ला और उमर अब्दुल्ला से नैशनल कॉन्फ्रेंस के 15 सदस्यीय शिष्टमंडल ने मुलाकात भी की थी। वहीं जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती इस समय हिरासत हैं। उन्हें लगातार हिरासत में रखे जाने को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
बांह में पट्टी बांधकर महिलाएं कर रही थीं प्रदर्शन
अपनी बांह में काली पट्टी बांधकर, हाथों में तख्ती लिए महिलाओं को प्रदर्शन करने की इजाजत नहीं दी गई थी, साथ ही उनसे शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए कहा गया था। हालांकि, प्रदर्शन कर रहीं महिलाओं ने इन निर्देशों को मानने से इनकार कर दिया और इकट्ठा होकर एक स्थान पर बैठने की कोशिश करने लगीं। इसके बाद महिला सीआरपीएफ की टीम ने प्रदर्शनकारियों को पकड़कर पुलिस वाहन में बैठा दिया। प्रदर्शन कर रहीं महिलाओं ने मीडिया को पर्चे बांटने की भी कोशिश की, जिससे उन्हें रोका गया।
महिलाओं ने दिया यह बयान
बयान में कहा गया, ‘हम कश्मीर की महिलाओं ने भारत सरकार द्वारा अनुच्छेद 370 और 35ए को हटाए जाने के निर्णय को अस्वीकार कर दिया है, जो कि जम्मू-कश्मीर को बांटने वाला है।’ नागरिक स्वतंत्रता और मौलिक अधिकारों की बहाली की मांग करते हुए महिलाओं ने यह भी कहा कि उन्हें ऐसा महसूस हो रहा है जैसे कि उनके साथ धोखा हुआ है और नीचा दिखाया गया है। उन्होंने बंदियों को तुरंत रिहा करने और ग्रामीण क्षेत्रों के साथ-साथ शहरी इलाकों से तुरंत सेना हटाने की मांग की।