जनजीवन ब्यूरो
पटना। भागलपुर में मंगलवार को एनडीए की ओर से आयोजित परिवर्तन रैली के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संबोधन के बाद प्रतिक्रिया देते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पीएम मोदी पर जमकर हमला बोला। नीतीश कुमार ने कहा कि आज की रैली में पीएम मोदी विचलित दिखाई दे रहे थे। उन्होंने कहा कि पीएम विशेष पैकेज पर सफाई नहीं दे पाये. नीतीश कुमार ने कहा कि चुनाव के मद्देनजर एनडीए की ओर से माहौल बनाने की कोशिश कर रही है और इसी कड़ी में आज रैली आयोजित की गयी थी। मुख्यमंत्री ने कहा कि अपने संबोधन के दौरान प्रधानमंत्री ने जो कुछ भी कहा उसमें तथ्यों की कमी साफ तौर पर दिखाई दी। उन्होंने कहा कि खुद के कामों को लेकर हमें किसी से सर्टिफिकेट लेने की आवश्यकता नहीं है।
पीएम नरेंद्र मोदी की परिवर्तन रैली के बाद आज शाम में नीतीश कुमार ने उनके आरोपों का जवाब दिया। संवाददाता सम्मेलन के उन्होंने केंद्र सरकार की नीतियों की जमकर आलोचना की। साथ ही उन्होंने अपने कार्यों व योजनाओं पर भी प्रकाश डालते हुए कहा कि उन्हें किसी से सर्टिफिकेट लेने की आवश्यकता नहीं है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री कह रहे थे कि दिल्ली के खजाने से वे पैसा दे रहे हैं, क्या ऐसा कोई विकल्प केंद्र के पास है। क्या संवैधानिक व्यवस्था में ऐसा कोई विकल्प है कि बिहार को पैसा न दें। केंद्र सरकार का यह दायित्व है, उनको हमारे हक का ये पैसा देना ही है।
राममनोहर लोहिया के चेले कहे जाने पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आपत्ति जाहिर करते हुए कहा कि हम लोग आदर के साथ उन्हें लोहिया जी कहते हैं और पीएम मोदी ने लोहिया कह कर उनका अपमान किया है। लोहिया, जेपी के चेले-चपाटे बोल रहे थे। हम लोग उनके चेले-चपाटे हैं। आप बताइए आप किसके हैं। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पीएम मोदी पर जनता के बीच भ्रम फैलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री को बिहार की चिंता करने की जरूरत नहीं है। राज्य विकास के राह पर चल रहा है और चलता रहेगा। नीतीश ने कहा कि बिहार में जो योजनाएं चल रही हैं, उनके साथ ही अन्य योजनाओं के क्रि यान्वय के लिए हम क्या करने वाले हैं, इसकी जानकारी हम पहले ही दे चुके हैं। प्रधानमंत्री का दावा खोखला है। हमारे देश के संघीय व्यवस्था में इसका प्रावधान है। केंद्र के टैक्स का विभाजन राज्यों के बीच होता है, ये केंद्र की कृपा नहीं हमारी हक है। नीतीश ने कहा, वित्त समिति की अनुशंसा को लागू करने से भी बिहार को पांच साल में नुकसान भी होने वाला है।
उन्होंने कहा कि सेंसेक्स नीचे जा रहा है और हमको लगता है इससे प्रधानमंत्री परेशान होंगे। भूकंप के दिन हम दिल्ली में थे, क्या हमें पता था कि भूकंप आ रहा है। उसके बाद अगली फ्लाइट से पटना आ गये और बैठक शुरू कर दी। 2007 में जब बाढ़ आयी तो बचाव कार्य लोगों को तो याद है। कोसी के बाढ़ से लड़ने का जो काम हुआ उसे भी लोग भूल गये हैं क्या। पूरा देश हमारे काम से प्रभावित हुआ था, मीडिया ने हमें और हमारे अधिकारियों को पुरस्कृत किया. केंद्र के कुछ मंत्री यहां घूमने आये थे, कितने समय के बाद लोगों को राहत पहुंचाई थी। हमें किसी के सिर्टिफकेट की जरूरत नहीं है। ऐसे बोल रहे थे कि हमलोगों को पता था कि भूकंप आने वाला हो। पीएम को ये सब शोभा नहीं देता।
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