जनजीवन ब्यूरो / कटिहार/ किशनगंज : बिहार में तीसरे चरण के मतदान में अब सिर्फ 3 दिन बाकी हैं लेकिन इसी बीच दो अलग-अलग बयानों से ऐसा लग रहा है कि NDA में अभी भी कई बड़े मुद्दों पर कन्फ्यूजन है। दरअसल कटिहार में आज यूपी के सीएम योगी और बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने CAA-NRC पर अलग-अलग बयान दे दिए हैं।
सीमांचल के कटिहार में बीजेपी के फायरब्रांड नेता और यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ दहाड़ रहे हैं- एनडीए की फिर सरकार बनते ही चुन-चुनकर घुसपैठियों को बाहर खदेड़ेंगे। वहां से महज सौ-सवा सौ किलोमीटर दूर किशनगंज। वहां बिहार के सीएम नीतीश कुमार दम भर रहे हैं- किसी में दम नहीं कि CAA-NRC के नाम पर हमारे लोगों को बाहर करे। तीसरे चरण से ठीक पहले एनडीए में सीएए-एनआरसी के मुद्दे पर दिख रहा बड़ा कन्फ्यूजन उसे नुकसान पहुंचा सकता है।
बिहार विधानसभा चुनाव के तीसरे और आखिरी चरण के चुनाव प्रचार करने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ कटिहार पहुंचे। जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने बिहार में घुसपैठ की समस्या को लेकर कहा कि कटिहार घुसपैठ की समस्या से त्रस्त है। बिहार में एनडीए की सरकार बनने पर घुसपैठिये को निकाल बाहर करेंगे। कहा कि एनडीए के भाजपा प्रत्याशी तार किशोर को चौथी बार आशीर्वाद दें,आपके आशीर्वाद से घुसपैठ की समस्या का समाधान होगा। योगी के मुताबिक बिहार में सरकार बनते ही घुसपैठियों को बाहर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि कटिहार घुसपैठ की समस्या से परेशान है। इसका निदान किया जाएगा।
बिहार के किशनगंज के कोचाधामन में चुनाव प्रचार करने आए सीएम नीतीश कुमार ने अल्पसंख्यकों के लिए हुए कामों का बखान तो किया ही, साथ ही नागरिकता संशोधन कानून (CAA) और NRC के मुद्दे पर AIMIM सांसद असदुद्दीन ओवैसी को भी निशाने पर लिया। उन्होंने भाषण की शुरुआत में ही कहा कि कुछ लोग ऐसी फालतूबातें कर रह हैं कि लोगों को देश के बाहर कर दिया जाएगा। नीतीश में कहा कि किसी में दम नहीं कि हमारे लोगों को देश से बाहर कर दे। गौरतलब है कि कोचाधामन मुस्लिम बहुल सीट मानी जाती है और यहां जेडीयू से मौजूदा विधायक मुजाहिद आलम, आरजेडी से शाहिद आलम और AIMIM से मोहम्मद इजहार मैदान में हैं। ऐसे में सभी जीतके लिए पूरा जोर लगा रहे हैं। ओवैसी इस पूरे इलाके में CAA-NRC का मुद्दा जोर शोर से उठा रहे हैं।
क्या मतलब दो अलग-अलग बयानों का
इन दो अलग-अलग बयानों ने कई सवाल उठा दिए हैं। सवाल ये कि क्या फिर से NDA में JDU और बीजेपी के दल मिले हैं दिल नहीं? सवाल ये भी कि क्या नीतीश ओवैसी के बहाने ये सबकुछ बीजेपी को सुना गए? सवाल ये भी कि क्या वोटों के ध्रुवीकरण के चक्कर में NDA में उल्टा कन्फ्यूजन ही फैल गया? खैर… इन सारे सवालों के जवाब तो तीसरे चरण के मतदान और उसके बाद आनेवाले नतीजे दे ही देंगे।