जनजीवन ब्यूरो / नई दिल्ली: लोकसभा में संविधान पर चर्चा के दौरान वायनाड से कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी ने आज पहली बार भाषण दिया। प्रियंका ने कहा कि वाद विवाद की संस्कृति हमारी दशकों पुरानी है। संसद में पहले ही भाषण में प्रियंका गांधी ने यूपी सरकार को घेरने का काम किया। संभल हिंसा से लेकर कई मुद्दों पर उन्होंने योगी सरकार पर निशाना साधा। प्रियंका ने कहा कि सरकार हर बात के लिए ज्वाहरलाल नेहरू को जिम्मेदार ठहराती है अगर नेहरू ही सब चीज के लिए जिम्मेदार हैं तो सरकार किस लिए है। उन्होंने लोकसभा में ‘भारत के संविधान की 75 वर्षों की गौरवशाली यात्रा’ पर चर्चा में भाग लेते हुए आरोप लगाया कि ‘एक व्यक्ति’ को बचाने के लिए देश की जनता को नकारा जा रहा है।
संभल हिंसा पर क्या बोलीं प्रियंका?
प्रियंका गांधी ने अपने पहले भाषण में यूपी के संभल हिंसा का भी मुद्दा उठाया। संविधान पर चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि एक 17 साल का बच्चा अदनान मेरे पास आया था, वो संभल हिंसा का पीड़िता था। उन्होंने कहा वो एक टेलर का बेटा था जो हर रोज अपने बच्चे को स्कूल छोड़ने जाते थे।
अदनान को सपने देखने की ताकत संविधान ने दी
कांग्रेस सांसद ने आगे कहा कि जब उसके पिता उन्हें स्कूल छोड़कर दुकान जाते हैं तो संभल में हिंसा हो जाती है। इसे देखकर वो घर वापस जाने लगते हैं और तभी पुलिस की गोली में उनकी जान चली गई। जब वो लड़का मिला तो उसने मुझसे बस यही कहा कि मेरे पिता मुझे डॉक्टर बनाना चाहते थे और मैं बनकर दिखाउंगा। प्रियंका ने कहा कि ये सपने देखने की ताकत भी संविधान ने ही दी है।
उन्नाव रेप पीड़िता का उठाया मुद्दा
प्रियंका गांधी ने यूपी के उन्नाव रेप कांड का मामला भी उठाया। उन्होंने कहा कि 20 साल की लड़की से बार-बार रेप हुआ। जब वो लड़की अपनी लड़ाई लड़ने बाहर निकली तो उसे जलाकर मार डाला गया। उन्होंने कहा कि बेटी को पिता ने बताया कि उन्होंने उसे रोका भी था, लेकिन उसने कहा कि मैं अपनी लड़ाई लड़ूंगी। प्रियंका ने कहा कि लड़की को ये क्षमता संविधान ने ही दी है।
प्रियंका ने इसके साथ ही हाथरस में युवती की मौत और जबरन अंतिम संस्कार का मुद्दा भी उठाया और यूपी सरकार पर बरसीं।
वायनाड से लोकसभा सदस्य निर्वाचित होने के बाद सदन में उनका यह पहला भाषण था। उन्होंने कहा, ‘‘हमारा संविधान लोगों के लिए सुरक्षा कवच है जो देशवासियों को सुरक्षित रखता है। यह न्याय, एकता, और अभिव्यक्ति की आजादी का कवच है।” उन्होंने कहा कि ‘लेटरल एंट्री’ के जरिये आरक्षण को कमजोर किया जा रहा है।
प्रियंका गांधी ने लोकसभा चुनाव के नतीजों का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘अगर लोकसभा में ये नतीजे नहीं आए होते तो ये (सत्तारूढ़ दल) संविधान बदलने का काम करते।” उन्होंने कहा, ‘‘लोकसभा चुनाव में इन्हें (भाजपा) हारते-हारते जीतने से एहसास हुआ कि इस देश में संविधान बदलने की बात नहीं चलेगी।”
प्रियंका गांधी का कहना था कि आज जाति जनगणना का जिक्र सत्तापक्ष कर रहा है क्योंकि ऐसे नतीजे आए। कांग्रेस सांसद का तात्पर्य इस बात से था कि लोकसभा चुनाव में भाजपा बहुमत से दूर रहे। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार आर्थिक न्याय का कवच तोड़ रही है। कांग्रेस सांसद ने दावा किया कि आज किसान भगवान भरोसे है।
प्रियंका गांधी ने कहा, ‘‘यह सिर्फ एक दस्तावेज नहीं है…हमारा संविधान इंसाफ, उम्मीद, अभिव्यक्ति और अकांक्षा की वह जोत है जो हर हिंदुस्तानी के दिल में जलती है।” उन्होंने कहा, ‘‘उम्मीद और आशा की एक जोत हमने देश के कोने-कोने में देखी है।” प्रियंका गांधी ने पूर्व प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू का उल्लेख करते हुए कहा कि उनका नाम पुस्तकों से मिटाया जा सकता है, भाषणों से मिटाया जा सकता है, लेकिन आजादी और देश के निर्माण में उनकी भूमिका को नहीं मिटाया जा सकता।